माफिया अतीक-अशरफ के शूटरों से एसआईटी जेल में करेगी पूछताछ, कोर्ट से मांगी अनुमति
प्रयागराज। माफिया अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ की हत्या के आरोपी शूटरों लवलेश तिवारी, सनी सिंह व अरुण मौर्या से एसआईटी फिर से पूछताछ करेगी। एसआईटी को अभी भी कई सवालों के जवाब नहीं मिले हैं। उधर, एसआईटी जून के अंतिम सप्ताह तक हत्यारोपियों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल करने की तैयारी में है।
अतीक और अशरफ की हत्या के मामले में जून के अंतिम सप्ताह में पुलिस के चार्जशीट दाखिल करने की संभावना है। हत्यारोपी सनी सिंह, लवलेश तिवारी, अरुण मौर्या के खिलाफ पुलिस ने चार्जशीट दाखिल करने की तैयारी कर ली है। असलहों की फॉरेंसिक जांच को आधार बनाया जा रहा है। हत्याकांड में इस्तेमाल असलहों की हुई फॉरेंसिक जांच और एफएसएल रिपोर्ट में सामने आया है कि हत्या जिगाना पिस्टल से की गई है। शूटर सनी सिंह को साजिश रचने का मुख्य आरोपी मानकर स्ढ्ढञ्ज चल रही है। सनी सिंह ने हत्या के लिए लवलेश, अरुण को तैयार किया था। हत्याकांड से जुड़े वीडियो, सीसीटीवी फुटेज भी जांच में शामिल हैं।
पुलिस और एसआईटी को शूटरों के पास से और न ही उस होटल से कोई मोबाइल बरामद हुआ है जहां वे रुके थे। ऐसे में सबसे बड़ा सवाल यह है कि अगर सनी सिंह मोबाइल का इस्तेमाल नहीं कर रहा था तो फिर वह शूटरों से कैसे संपर्क में रहा? इसके अलावा कैसे तीनों एक ही समय काल्विन हॉस्पिटल में पहुंच सके थे। इसके अलावा एक सवाल और उठ रहा है कि तुर्किए की जिगाना पिस्टल और लॉरेंस विश्नोई गैंग का क्या कनेक्शन है। इसी गैंग का नाम सामने आया था कि शूटरों को महंगी पिस्टलें यहीं से मिली थीं। तुर्किए की पिस्टलें शूटरों के पास कैसे पहुंचीं। इसके अलावा इन तीनों का ब्रेनवॉश करने वाला मुख्य साजिश कर्ता कौन है, इन सवालों के जवाब अभी एसआईटी के पास नहीं है।
माफिया अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ की 15 अप्रैल 2023 को काल्विन अस्पताल में पुलिस हिरासत में गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। हत्या करने वाले आरोपी सनी सिंह, लवलेश तिवारी और अरुण मौर्या ने वहीं पर पुलिस के सामने सरेंडर कर दिया था। हत्या के बाद सनी सिंह का यह बयान आया था कि उसने माफिया डॉन बनने के लिए अतीक अहमद और अशरफ की हत्या की है। इसके पीछे और किसी का हाथ नहीं है।
एसआईटी अभी इस बात का खुलासा नहीं कर पाई है कि बिना किसी मोबाइल के तीनों के बीच कम्युनिकेशन का माध्यम क्या था। क्या कोई चौथा व्यक्ति भी था जो तीनों को लाकर के काल्विन अस्पताल तक छोड़ गया था। क्या मौके पर लावारिस मिलीं बाइकें पहले से अस्पताल परिसर में घटनास्थल पर लाकर खड़ी कर दी गईं थीं। सवाल यह भी है कि तीनों की साजिश में और कौन-कौन लोग शामिल हैं। बिना किसी प्लानिंग कैसे इन तीनों ने अतीक और अशरफ की हत्या कर दी। शुरुआती बयान में सनी सिंह ने कहा था कि उन्हें किसी ने नहीं भेजा है और ना ही किसी के इशारे पर उन्होंने अतीक और अशरफ की हत्या की है। पुलिस सूत्रों के मुताबिक तीनों का यह बयान बरगलाने वाला है। कोई ना कोई बड़ा चेहरा इस हत्याकांड के पीछे है। इसे बेनकाब करने के लिए एसआईटी अब फिर पूछताछ की तैयारी में है। इसके अलावा हत्या में उपयोग की गई तुर्किए पिस्टल की कहानी भी अभी काफी हद तक उलझी हुई है।